परशुराम: क्षत्रिय नरसंहार का normalisation और ब्राह्मण Caste Politics


Parshuram killing Kshatriya men, women & children

परब्रह्म श्री राम जी ने धर्म की स्थापना के लिये अवतार लिया और रावण जैसे अत्याचारियों का वध किया
अब मेरी समझ ये नहीं आता जब धरती पर all ready एक भगवान मौजूद तो दूसरे को क्यों आना पड़ा।
और कमाल की तो ये है कि परब्रह्म श्री कृष्ण के काल में भी आ गये ऐसा कौनसा कार्य शेष रह गया था कि जो परशुराम के बिना सम्भव नहीं हो सकता था मैं ये नहीं कहता कि मेरी बात मानो पर विचार जरूर करो।
ये विचार करने को भी केवल क्षत्रियों को की कह रहा हूँ बाकी अन्य समाज क्या कर रहा है उस से हमें कोई फर्क नहीं पड़ता ।
क्योंकि बहुत से श्रेष्ठ ब्राह्मणों ने भी परशुराम को भगवान नहीं माना और परशुराम रामद्रोही कहा है
जय श्री राम।
क्योंकि ब100 /150 वर्ष से परशुराम को भगवान कहना चालू हुआ है और क्षत्रियों ने 4/5 साल से कह कर बधाई देना शुरू किया है प्रचार की ही ताकत हैये। लगता है
2/3 वर्ष बाद परब्रह्म श्री राम की
पत्नीहर्ता रावण को भी क्षत्रियों
द्वारा भगवान रावण लिख कर बधाई दी जाएगी।

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